मौत शायद 179 साल के बुजुर्ग महाष्टा मुरासी के घर का पता भूल गई
नई दिल्ली। आजकल की भागदौड़ भरी जिंदगी में आदमी
साठ-सत्तर साल तक ही जिंदगी जी पाता है। हर आदमी के जीवन में इतनी
मुसीबतें हैं कि उसको टेंशन लेना ही पड़ता है लेकिन इससे इतर दुनिया में
महाष्टा मुरासी समेत कुछ ऐसे लोग भी हैं और मौत का इंतजार कर रहे हैं। मौत
ऐसी है कि उनका रास्ता ही भूल गई है।
179 साल के महाष्टा मुरासी दुनिया के सबसे बुजुर्ग भारतीय इंसान हैं। महाष्टा मुरासी अपनी उम्र के लिए कहते हैं कि शायद मौत मेरे घर का रास्ता ही भूल गई है। मैं इंतजार कर रहा हूं लेकिन कम्बखत आती ही नहीं है। औसतन किसी भी व्यक्ति की उम्र लगभग सौ साल के आस-पास होती है लेकिन महाष्टा मुरासी अकेले ऐसे व्यक्ति हैं जिन्होंने अपनी जिंदगी के 179 वसंत पूरे कर लिए हैं।
आस-पास के लोग हैरान
इनकी इतनी लंबी उम्र को देख कर आस-पास के लोग भी हैरत में है। कोई कहता है कि इनके पास दैवीय शक्ति है को कोई कहता है कि भगवान की ओर से इन्हें अमरत्व का वरदान प्राप्त है।
महाष्टा मुरासी से जुड़ी महत्वपूर्ण बातें
मुरासी बताते हैं कि उनका जन्म सन जनवरी 1835 में बेंगलुरु के एक इलाके में हुआ था। सन 1903 में महाष्टा मुरासी बेंगलुरु को छोड़कर वाराणसी रहने आ गए और तभी से वे वाराणसी में रह रहे हैं। महाष्टा मुरासी बताते हैं कि उन्होंने उम्र के 179 साल पूरे कर लिए हैं। यहां तक कि मेरे नाती-पोते को मरे हुए भी कई साल बीत चुके हैं।
डॉक्टर भी हैरान
महाष्टा मुरासी कई बार अधिकारियों को अपने जन्म प्रमाण पत्र और पहचान पत्र भी दिखा चुके हैं। कई बार उनका मेडिकल चेक-अप भी किया जा चुका है लेकिन उनकी वास्तविक उम्र को लेकर डॉक्टर अभी भी आशांकित हैं। डॉक्टरों का कहना है कि इसे कुदरत का करिश्मा ही कहा जा सकता है।
179 साल के महाष्टा मुरासी दुनिया के सबसे बुजुर्ग भारतीय इंसान हैं। महाष्टा मुरासी अपनी उम्र के लिए कहते हैं कि शायद मौत मेरे घर का रास्ता ही भूल गई है। मैं इंतजार कर रहा हूं लेकिन कम्बखत आती ही नहीं है। औसतन किसी भी व्यक्ति की उम्र लगभग सौ साल के आस-पास होती है लेकिन महाष्टा मुरासी अकेले ऐसे व्यक्ति हैं जिन्होंने अपनी जिंदगी के 179 वसंत पूरे कर लिए हैं।
आस-पास के लोग हैरान
इनकी इतनी लंबी उम्र को देख कर आस-पास के लोग भी हैरत में है। कोई कहता है कि इनके पास दैवीय शक्ति है को कोई कहता है कि भगवान की ओर से इन्हें अमरत्व का वरदान प्राप्त है।
महाष्टा मुरासी से जुड़ी महत्वपूर्ण बातें
मुरासी बताते हैं कि उनका जन्म सन जनवरी 1835 में बेंगलुरु के एक इलाके में हुआ था। सन 1903 में महाष्टा मुरासी बेंगलुरु को छोड़कर वाराणसी रहने आ गए और तभी से वे वाराणसी में रह रहे हैं। महाष्टा मुरासी बताते हैं कि उन्होंने उम्र के 179 साल पूरे कर लिए हैं। यहां तक कि मेरे नाती-पोते को मरे हुए भी कई साल बीत चुके हैं।
डॉक्टर भी हैरान
महाष्टा मुरासी कई बार अधिकारियों को अपने जन्म प्रमाण पत्र और पहचान पत्र भी दिखा चुके हैं। कई बार उनका मेडिकल चेक-अप भी किया जा चुका है लेकिन उनकी वास्तविक उम्र को लेकर डॉक्टर अभी भी आशांकित हैं। डॉक्टरों का कहना है कि इसे कुदरत का करिश्मा ही कहा जा सकता है।
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